Delhi Vidhan Sabha Chunav के नतीजे आने से पहले आज AAP के सभी 70 उम्मीदवारों की बैठक हो रही है। इस बैठक में नतीजे वाले दिन की तैयारियों और विधायकों की खरीद-फरोख्त के आरोपों पर चर्चा होगी। पांच फरवरी को हुए मतदान के बाद आठ फरवरी को चुनाव परिणाम आएंगे। अधिकांश एग्जिट पोल भाजपा की जीत का अनुमान लगा रहे हैं लेकिन अंतिम परिणाम आठ फरवरी को ही पता चलेगा।
दिल्ली विधानसभा चुनाव (Delhi Vidhan Sabha Chunav 2025) के नतीजों से पहले आज आम आदमी पार्टी (AAP) के सभी 70 उम्मीदवारों की आज बैठक शुरू हो गई है।
बताया गया कि इस बैठक में नतीजे वाले दिन के लिए पार्टी की तैयारियों और विधायकों की खरीद-फरोख्त के आरोपों को लेकर बैठक होगी।
बता दें कि दिल्ली विधानसभा चुनाव के लिए पांच फरवरी को वोटिंग हुई थी, जबकि आठ अफवरी को चुनाव का परिणाम आएगा। वहीं, ज्यादातर एग्जिट पोल के अनुसार, दिल्ली में इस बार भाजपा की सरकार बन रही है। लेकिन सरकार किसकी बनेगी, यह तो आठ फरवरी को ही पता चलेगा।
बैठक का उद्देश्य और चर्चा के मुख्य बिंदु:
- विधायकों की सुरक्षा: अरविंद केजरीवाल ने आरोप लगाया कि भाजपा ने उनके 16 उम्मीदवारों को 15-15 करोड़ रुपये का लालच देकर पार्टी छोड़ने का प्रस्ताव दिया है। उन्होंने कहा, “यदि भाजपा की पार्टी को 55 से अधिक सीटें मिल रही हैं, तो हमारे उम्मीदवारों को संपर्क करने की आवश्यकता क्यों है?” यह बयान संभावित ‘ऑपरेशन लोटस’ की ओर इशारा करता है, जिसमें विपक्षी विधायकों को तोड़ने की कोशिश की जाती है।
- पार्टी की एकता: बैठक में सभी उम्मीदवारों को पार्टी की एकता बनाए रखने और किसी भी प्रलोभन से बचने की सलाह दी गई। दिल्ली की मुख्यमंत्री आतिशी ने भी इस संदर्भ में कहा, “यदि भाजपा की पार्टी को 50 से अधिक सीटें मिल रही हैं, तो हमारे प्रत्याशियों को संपर्क करने की कोशिश क्यों कर रहे हैं? यह दिखा रहा है कि एग्जिट पोल एक साजिश हैं आम आदमी पार्टी के विधायक तोड़ने की!
- चुनावी रणनीतियाँ: बैठक में आगामी चुनाव परिणामों के बाद की रणनीतियों पर भी चर्चा की गई, ताकि पार्टी अपनी स्थिति को मजबूत कर सके और किसी भी संभावित संकट का सामना कर सके।
पार्टी की प्रतिक्रिया और तैयारियाँ:
- प्रियंका कक्कड़ का बयान: AAP की मुख्य राष्ट्रीय प्रवक्ता प्रियंका कक्कड़ ने भाजपा पर आरोप लगाया कि वे फर्जी सर्वेक्षणों के माध्यम से माहौल बनाने की कोशिश कर रहे हैं, ताकि पार्टी के नेताओं और मंत्रियों को तोड़ा जा सके। उन्होंने कहा, “बीजेपी सोचती है कि फर्जी सर्वे के जरिए माहौल बनाकर वह हमारे नेताओं और मंत्रियों से मोल-तोल कर सकती है।”
- मुकेश अहलावत का समर्थन: दिल्ली के मंत्री मुकेश अहलावत ने भी पार्टी के प्रति अपनी निष्ठा व्यक्त करते हुए कहा, “मैं मरते दम तक अपने पार्टी को नहीं छोड़ूंगा।”
AAP की यह बैठक पार्टी की एकता और सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए महत्वपूर्ण कदम है। अरविंद केजरीवाल और अन्य नेताओं के बयान दर्शाते हैं कि पार्टी संभावित साजिशों से सावधान है और अपने उम्मीदवारों को किसी भी प्रलोभन से बचने के लिए प्रेरित कर रही है। आगामी चुनाव परिणामों के बाद, पार्टी अपनी रणनीतियों को और भी सुदृढ़ करने की योजना बना रही है।