- लखनऊ में ठगी का मामला – सुशांत गोल्फ सिटी के सेक्टर जे में 3.21 करोड़ रुपये की जमीन बिक्री को लेकर विवाद।
- रिटायर्ड आईएएस अधिकारी के बेटे ने दर्ज कराई FIR – ठगी का शिकार होने का दावा करते हुए हजरतगंज थाने में मामला दर्ज कराया गया।
- प्रणव अंसल पर आरोप – अंसल API के चेयरमैन प्रणव अंसल पर धोखाधड़ी और जालसाजी के गंभीर आरोप।
- पुलिस जांच शुरू – हजरतगंज पुलिस ने मामले की जांच शुरू की, दस्तावेजों की हो रही जांच।
- रियल एस्टेट घोटाले से जुड़ा मामला? – पहले भी इस तरह के मामलों में आ चुका है अंसल API का नाम, पुलिस कर रही विस्तृत पड़ताल।
लखनऊ – अंसल API के खिलाफ कानूनी शिकंजा कसता जा रहा है। लखनऊ के हजरतगंज थाने में पूर्व आईएएस अधिकारी के बेटे ने 3.21 करोड़ रुपये की ठगी का आरोप लगाते हुए एफआईआर दर्ज कराई है। मामले में अंसल API के चेयरमैन प्रणव अंसल, धीरज गोयल, अध्यक्ष राजेश्वर राव और मार्केटिंग हेड अभिषेक मिश्रा के खिलाफ मामला दर्ज कर पुलिस ने जांच शुरू कर दी है।
पूरा मामला क्या है?
रिटायर्ड आईएएस अधिकारी के बेटे व्योम वार्ष्णेय, जो वीएम पीआर इंफ्रा डेवलपर्स नामक रियल एस्टेट कंपनी चलाते हैं, ने अंसल API पर गंभीर आरोप लगाए हैं।
- दिवांश इंफ्रा एस्टेट प्राइवेट लिमिटेड ने सुशांत गोल्फ सिटी, सेक्टर जे में 1.93 लाख वर्ग फीट का प्लॉट अंसल API से खरीदा था।
- इसके लिए 27 दिसंबर 2012 को 3.21 करोड़ रुपये का भुगतान किया गया था।
- 2022 में दिवांश इंफ्रा एस्टेट ने VM PR इंफ्रा डेवलपर्स को अंसल API की सहमति से वही प्लॉट बेचा।
- आरोप है कि बेसिक कॉस्ट का 30% भुगतान करने के बावजूद प्लॉट का मालिकाना हक नहीं दिया गया।
- बाद में पता चला कि अंसल API के पास जमीन की रजिस्ट्री ही नहीं थी।
चेयरमैन प्रणव अंसल समेत कई अधिकारियों पर केस
हजरतगंज पुलिस ने अंसल API के चेयरमैन प्रणव अंसल, धीरज गोयल, अध्यक्ष राजेश्वर राव और मार्केटिंग हेड अभिषेक मिश्रा के खिलाफ धोखाधड़ी और जालसाजी का केस दर्ज कर लिया है। पुलिस मामले की जांच कर रही है और आवश्यक दस्तावेजों की जांच की जा रही है।
सीएम योगी का सख्त रुख
बता दें कि कुछ दिन पहले मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अंसल API के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने के निर्देश दिए थे। सीएम योगी ने विधानसभा में भी इस मामले पर सख्त रुख अपनाया था और ठगी के मामलों पर सख्त कार्रवाई के संकेत दिए थे।
क्या होगा आगे?
पुलिस इस पूरे मामले की गंभीरता से जांच कर रही है। यदि आरोप सही साबित होते हैं, तो अंसल API के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जा सकती है। अब देखना यह होगा कि इस मामले में आगे क्या कानूनी कदम उठाए जाते हैं।





